12 चिकन पॉक्स के घरेलू इलाज | Home Remedies of chicken pox in hindi
चिकन पॉक्स के घरेलू इलाज – Home remedies for chicken pox in hindi
चिकन पॉक्स क्या है, किस चीज़ से ये चिकन पॉक्स होता है, क्या लक्षण होते है, किन-किन लोगोंको ये होता है, ऐसे तमाम सवाल के जवाब आपको इस लेख मिल जायेगा। इसे पूरा पढ़े, उपयोगी लगे तो जागरूकता फ़ैलाने के लिए अपने दोस्तों, परिवार जानो को जरूर शेयर करे।
चिकन पॉक्स (छोटी माता) के कारण, लक्षण और घरेलू इलाज –
चिकन पॉक्स (वेरिसेला/varicella-zoster virus) एक वायरल संक्रमण है, जो छोटे द्रव से भरे खुजलीदार फफोलों और दानों के साथ शरीर पर प्रहार करता है। यह वेरिसेला जोस्टर वायरस के संपर्क में आने की वजह से होता है। चिकन पॉक्स जिसे छोटी माता भी कहते हैं, यह उन्हें सबसे ज्यादा निशाना बनाता है, जिन्हें बचपन में इसका टीका न लगाया गया हो या जिनका इम्यून सिस्टम कमजोर हो।
हालांकि, यह उतनी गंभीर बीमारी नहीं है, लेकिन लापरवाही बरतने पर इसके लक्षण घातक साबित हो सकते हैं। इसके प्रति सही जागरूकता और शरीर की देखभाल की समझ आपको इस समस्या से निजात दिला सकती है।
सबसे पहले, चिकन पॉक्स के कारणों के बारे में जान लेते हैं
आपके लिए यह जानना जरूरी है कि चिकन पॉक्स का कारण क्या है और यह किस प्रकार फैलता है ।
बीमारी के दौरान वायरस फफोले के तरल से सीधे फैलता है। आमतौर पर लोगों को दो बार से ज्यादा चिकनपॉक्स नहीं होता है।
वेरिसेला जोस्टर वायरस उन लोगों के लिए अत्यधिक संक्रामक है, जिन्हें कभी चिकनपॉक्स नहीं हुआ है, या रोगप्रतिरोधक क्षमता कमजोर है या जिन्होंने इससे बचने का टीका न लगवाया हो।
चिकन पॉक्स से ग्रसित व्यक्ति द्वारा इस्तेमाल की जा रही वस्तुओं से भी यह वायरस फैल सकता है।
जिन बच्चों को दाद हैं, उनसे भी चिकन पॉक्स फैलने का डर बना रहता है, क्योंकि दाद की वजह भी वेरिसेला जोस्टर वायरस ही होता है।
यह जरूर पढ़े – इम्यूनिटी सिस्टम | रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने के उपाय
चिकन पॉक्स के लक्षण –
चिकन पॉक्स के निम्नलिखित लक्षण पाए जाते हैं ।
- बुखार
- थकान
- भूख की कमी
- सिरदर्द आदि
चिकन पॉक्स के सबसे सटीक घरेलू नुस्खों के बारे में जानने के लिए पढ़ते रहें यह लेख।
चिकन पॉक्स (छोटी माता) के घरेलू उपाय |चिकन पॉक्स ट्रीटमेंट
1 एलोवेरा | Aloe Vera
सामग्री
एक एलोवेरा की पत्ती
कैसे करें इस्तेमाल?
- पत्ती के अंदर मौजूद जेल को बाहर निकालें और एक एयरटाइट कंटेनर में रखें
- इस ताजा जेल को चकत्तों की जगह पर लगाएं और छोड़ दें
- बाकी जेल को फ्रिज में स्टोर करें। हफ्ते भर तक इस तरह स्टोर किया जेल सुरक्षित रहेगा
कितनी बार करें इस्तेमाल?
दिन में दो-तीन बार इस प्रक्रिया को दोहराएं।
कैसे है लाभदायक?
ऐलोवेरा जेल चिकन पॉक्स से संक्रमित हुई त्वचा को ठंडक और आराम देने का काम करता है। इसमें मौजूद एंटीइंफ्लेमेटरी गुण त्वचा को मॉइस्चराइज कर होने वाली खुजली को कम करता है । यह उपाय प्राकृतिक है और बच्चों की त्वचा के लिए उपयोग में लाया जा सकता है
2. नीम | Neem Tree Leaf
सामग्री
मुट्ठी भर नीम के पत्ते
- पानी (आवश्यकतानुसार)
कैसे करें इस्तेमाल?
- आवश्यकतानुसार पानी लें और नीम की पत्तियों को पीसकर पेस्ट बना लें।
- इस पेस्ट को चकत्ते वाली त्वचा पर लगाएं और कुछ घंटों के लिए छोड़ दें।
- नीम की पत्तियों को पानी में उबालकर नहा भी सकते हैं। इस विधि से भी चिकन पॉक्स से संक्रमित त्वचा को राहत मिलेगी।
कितनी बार करें?
पेस्ट वाली विधि दिन में दो बार करें और नहाने वाली विधि दिन में एक बार करें।
कैसे है लाभदायक?
नीम की पत्तियां एंटीवायरल और एंटी बैक्टीरियल गुणों से समृद्ध होती हैं, जो चिकन पॉक्स से संक्रमित त्वचा को आराम देने का काम करती हैं। खुजली और रैशेज के लिए नीम का उपाय रामबाण माना जाता है। नीम की पत्तियों का पेस्ट फफोलों को जल्द सूखाने का काम करता है । चिकन पॉक्स ट्रीटमेंट के लिए आप नीम का बताए गए तरीके से इस्तेमाल कर सकते हैं।
3. बेकिंग सोडा(Sodium bicarbonate) बाथ
सामग्री
- आधा कप बेकिंग सोडा(Sodium bicarbonate)
- नहाने योग्य गर्म पानी
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कैसे करें इस्तेमाल?
- नहाने योग्य गर्म पानी से साफ बाथटब भर लें।
- अब पानी में आधा कप बेकिंग सोडा अच्छी तरह मिला लें।
- लगभग 15 से 20 मिनट तक इस पानी में शरीर को डुबोए रखें।
कितनी बार करें?
समस्या के दिनों में रोजाना इस प्रक्रिया को दोहराएं।
कैसे है लाभदायक?
गर्म पानी में बेकिंग सोडा (सोडियम बाइकार्बोनेट) डालकर स्नान करने से चिकन पॉक्स से संक्रमित हुई त्वचा को आराम मिलता है। आप काफी बेहतर महसूस करेंगे। इसमें मौजूद एंटीफंगल और एंटी बैक्टीरियल गुण चकत्तों और खाज को कम करने का काम करते हैं ।
4. ओटमील बाथ | Oatmeal Baths
सामग्री
- दो कप ओट्स
- चार कप पानी
- एक कपड़े की थैला
- गर्म पानी
कैसे करें इस्तेमाल?
- ओटमील को पीसकर चार कप पानी में कुछ मिनट के लिए भिगो दें।
- अब ओटमील को एक कपड़े की थैली में डालें और इसे कस लें।
- टब में नहाने योग्य पानी भर लें और ओटमील की थैली को पांच से दस मिनट के लिए पानी में रहने दें।
- अब 15 से 20 मिनट तक इस पानी में बैठे रहें।
कितनी बार करें?
समस्या के दिनों में रोजाना इस प्रक्रिया को दोहराएं।
कैसे है लाभदायक?
चिकन पॉक्स का इलाज करने के लिए आप ओटमील बाथ का प्रयोग कर सकते हैं। चिकन पॉक्स से संक्रमित त्वचा को राहत देने में ओटमील बाथ काफी काम आता है। ओटमील बाथ एक कारगर मॉइस्चराइजिंग और एंटीइंफ्लेमेटरी एजेंट की तरह काम करता है। नियमित स्नान करने से चकत्ते और खुजली काफी हद तक कम हो जाते हैं।
5. विनेगर बाथ | Vinegar Bath
सामग्री
- एक कप ब्राउन विनेगर या सेब का सिरका
- नहाने योग्य गर्म पानी
कैसे करें इस्तेमाल?
- नहाने के पानी में सिरका मिलाएं और अपने शरीर को इसमें लगभग 15 मिनट के लिए भिगोएं।
- बाद में साफ पानी शरीर पर डालें।
कितनी बार करें?
समस्या के दिनों में आप हर दूसरे दिन इस प्रक्रिया को दोहरा सकते हैं।
कैसे है लाभदायक?
विनेगर बाथ खुजली और चकत्तों से तुरंत राहत देने का काम करता है और दागों को भी साफ करता है। विनेगर एंटी माइक्रोबियल गुणों से समृद्ध होता है, जो चिकन पॉक्स से संक्रमित त्वचा का इलाज कर सकता है। चिकन पॉक्स ट्रीटमेंट के लिए आप विनेगर बाथ ले सकते हैं।
6. अदरक | Ginger
सामग्री
- दो-तीन चम्मच अदरक का पाउडर
कैसे करें इस्तेमाल?
- इसे अपने नहाने के पानी में मिलाएं।
- 15 से 20 मिनट इस पानी में शरीर को भिगोए रखें।
कितनी बार करें?
समस्या के दिनों में यह प्रक्रिया रोजाना दोहराएं।
कैसे है लाभदायक?
अदरक एंटीइंफ्लेमेटरी और एंटी बैक्टीरियल गुणों से समृद्ध होता है। अदरक का यह उपाय चिकन पॉक्स के छाले और चकत्तों को ठीक करने में आपकी मदद करेगा। यह खुजली को भी काफी हद तक कम कर देगा।
7. नमक का स्नान | Bathing with Sea Salt
सामग्री
- आधा कप समुद्री नमक/डेड सी सॉल्ट
- एक चम्मच लैवेंडर का तेल (वैकल्पिक)
- नहाने योग्य गर्म पानी
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कैसे करें इस्तेमाल?
- नहाने योग्य गर्म पानी में समुद्री नमक और लैवेंडर का तेल मिला लें।
- इस पानी में अपने शरीर को 10 से 15 मिनट के लिए भिगोएं।
कितनी बार करें?
समस्या के दिनों में रोजाना इस प्रक्रिया को दोहराएं।
कैसे है लाभदायक?
समुद्री नमक एंटी माइक्रोबियल गुणों से समृद्ध होता है , जो कीटाणुओं से लड़ने का काम करता है और इसका एंटीइंफ्लेमेटरी गुण खुजली-चकत्तों को कम करने का काम करता है। यह एक सुरक्षित उपाय है, जिसे चिकन पॉक्स के दौरान अपनाया जा सकता है।
8. कैलामाइन(Calamine) लोशन |
सामग्री
- एक कप कैलामाइन लोशन
- लैवेंडर तेल की चार-पांच बूंद
कैसे करें इस्तेमाल?
- एक बोतल में कैलामाइन लोशन के साथ लैवेंडर तेल को अच्छी तरह मिलाएं।
- अब इस मिश्रण को चिकन पॉक्स के चकत्तों पर लगाएं।
कितनी बार करें?
रोजाना दो से तीन बार यह प्रक्रिया दोहराएं।
कैसे है लाभदायक?
चिकन पॉक्स से पीड़ित व्यक्ति के लिए कैलेमाइन लोशन का उपायकारगर रहेगा। कैलामाइन लोशन खुजली से राहत देता है और संक्रमित त्वचा को शांत करने का काम करता है। चिकन पॉक्स का इलाज करने के लिए आप कैलामाइन लोशन का इस्तेमाल कर सकते हैं।
9. हर्बल टी | Herbal Tea
सामग्री
- एक हर्बल टी बैग (कैटनिप/ कैमोमाइल/ तुलसी/ लेमन बाम/ लिकोराइस)
- एक कप गर्म पानी
- एक चम्मच शहद
कैसे करें इस्तेमाल?
- हर्बल टी बैग को कुछ मिनटों के लिए गर्म पानी में डुबो कर रखें।
- चाय को छान लें और इसमें एक चम्मच शहद मिलाएं।
- अब धीरे-धीरे इस चाय को पिएं।
- इसमें आप दालचीनी पाउडर या नींबू का रस भी मिला सकते हैं।
कितनी बार करें?
पसंदीदा हर्बल चाय को दिन में दो-तीन बार पी सकते हैं।
कैसे है लाभदायक?
हर्बल चाय औषधीय गुणों से समृद्ध होती है। यह गैस्ट्रोइंटेस्टिनल सिस्टम को ठीक करती है और रोग प्रतिरक्षा प्रणाली को बेहतर करती है। इनमें मौजूद एंटीइंफ्लेमेटरी और एंटीऑक्सीडेंट गुण चिकन पॉक्स से उभरने में सहायता करते हैं।
10. शहद | Honey
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सामग्री
शहद ( आवश्यकतानुसार)
कैसे करें इस्तेमाल?
- खुजली व चकत्तों वाली जगह पर शहद लगाएं।
- कम से कम 20 मिनट तक शहद लगा रहने दें।
- 20 मिनट बाद साफ पानी से त्वचा पर लगा शहद धीरे से पोंछ लें।
कितनी बार करें?
दिन में यह प्रक्रिया दो बार दोहराएं।
कैसे है लाभदायक?
शहद एंटी बैक्टीरियल गुणों से समृद्ध होता है। जिसका इस्तेमाल आप चिकन पॉक्स से संक्रमित त्वचा को आराम पहुंचाने के लिए कर सकते हैं। शहद न सिर्फ चकत्तों को कम करेगा, बल्कि निशान मिटाने में मदद करेगा।
11. गेंदे का फूल | Marigold Flower
सामग्री
- दो बड़े चम्मच गेंदे के फूल
- पांच-छह विच हेजल की पत्तियां
- एक कप पानी
कैसे करें इस्तेमाल?
- गेंदे के फूल और विच हेजल की पत्तियां को रातभर पानी में भिगोएं।
- सुबह इसका पेस्ट बना लें और चकत्तों पर लगाएं।
- इस पेस्ट को एक या दो घंटे तक लगा रहने दें और बाद में साफ पानी से इसे धो लें।
कितनी बार करें?
यह प्रक्रिया रोजाना दो बार दोहराएं।
कैसे है लाभदायक?
गेंदे का फूल मॉइस्चराइजिंग और विच हेजल एंटीसेप्टिक गुणों से समृद्ध होता है। चिकन पॉक्स के चकत्तों और खुजली से राहत पाने के लिए आप इनका एक साथ इस्तेमाल कर सकते हैं। ये संक्रमित त्वचा को आराम देने का काम करेंगे।
12. विटामिन-ई कैप्सूल
सामग्री
दो विटामिन-ई कैप्सूल
कैसे करें इस्तेमाल?
- कैप्सूल के अंदर मौजूद तेल को बाहर निकाल लें।
- अब इस तेल को चिकन पॉक्स के चकत्ते और निशान पर लगाएं।
कितनी बार करें?
दिन में दो-तीन बार यह प्रक्रिया दोहराएं।
कैसे है लाभदायक?
विटामिन-ई तेल त्वचा को हाइड्रेट करता है और सतह से मृत त्वचा कोशिकाओं को हटाता है। यह संक्रमित त्वचा पर एंटीइंफ्लेमेटरी और एंटीऑक्सीडेंट प्रभाव के चलते रैशेज को ठीक करने का काम करता है। चिकन पॉक्स का इलाज करने के लिए आप विटामिन-ई कैप्सूल का इस्तेमाल कर सकते हैं।
चिकन पॉक्स में आहार –
चिकन पॉक्स होने पर क्या खाएं –
- गाजर और धनिए का सूप।
- मछली, लेकिन शेलफिश नहीं।
- दही खाएं, क्योंकि यह प्रतिरक्षा प्रणाली को बढ़ावा देती है।
- आम, खुबानी, पपीता, चेरी, अंजीर, अनानास, सेब और नाशपाती खाएं।
- विटामिन-सी से भरपूर सब्जियां जैसे ब्रोकोली और पालक।
- शिटाकी मशरूम।
चिकनपॉक्स के दौरान इन खाद्य पदार्थों से बचें –
- नट्स
- गेहूं, ओट्स व चावल जैसे साबुत अनाज
- अंगूर, ब्लैकबेरी, ब्लूबेरी, संतरे और अंगूर
- चॉकलेट
- कैफीन युक्त पेय
- नमकीन खाद्य पदार्थ
- मसालेदार और उच्च वसा वाले भोजन
चिकन पॉक्स के जोखिम कारक –
- पहले चिकनपॉक्स नहीं हुआ हो।
- चिकनपॉक्स का टीका नहीं लगवाया हो।
चूंकि ‘वेरिसेला जोस्टर वायरस’ बच्चों को ज्यादा अपना निशाना बनाता है, इसलिए संक्रमित बच्चों के साथ अधिकतर समय बिताना चिकन पॉक्स का कारण बन सकता है।
इम्यून विकार या कीमोथेरेपी की दवा के कारण प्रतिरक्षा प्रणाली कमजोर हो जाती है। इस स्थिति में अगर आप चिकन पॉक्स से संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में आते हैं, तो यह वायरस आपको भी अपना शिकार बना सकता है।
चिकन पॉक्स (छोटी माता) से बचाव के उपाय –
चिकन पॉक्स एक संक्रामक बीमारी है,अगर आपके घर में कोई इस समस्या से पीड़ित होता है, तो आप बताए गए घरेलू उपाय अपना सकते हैं। आशा है कि आपको यह लेख जरूर अच्छा लगा होगा।